हास्य-व्यंग किस्से मर्दों के
मुसीबत छोटी ही अच्छी
एक ने देखा कि उसका एक दोस्त अपनी नई नवेली पत्नि के साथ जा रहा है। वह हैरान
हो गया कि उसका दोस्त तो एक लम्बा-चौड़ा जवान है पर उसकी बीवी एक दुबली-पतली
छोटी सी गुडि़या। दोस्त ने पूछा, ''तुमने यह क्या किया\''
दोस्त बोला, ''यह मैंने सोच समझ कर ही किया है।''
उसने पूछा, ''क्या मतलब\''
दोस्त ने समझाया, ''मेरे दोस्त, मुसीबत जितनी छोटी हो
उतनी ही अच्छी होती है।''
मेरे दोस्त को बचा लो, जज सॉब
एक व्यक्ति जज के पास दौड़ा-दौड़ा पहुंचा। हाथ
जोड़ कर वह बार-बार यही बोले जा रहा था, ''मेरे दोस्त को बचा लो, जज सॉब। वह
बर्बाद हो जोयेगा। उसकी जि़न्दगी खराब हो जायेगी।'' वह बस चिल्लाये जा रहा था।
''बता तो सही हुआ क्या\'' जज ने कहा।
''सॉब'', वह रोता ही जा रहा था। ''वह मेरी बीवी से शादी
करने जा रहा है।''
पत्निब्रता पति
एक व्यक्ति अपने घर के बाहर सर्दी में
सिकुड़ रहा था। ऊपर से उसके सिर, बाज़ू, टांग पर पट्टियां बंधी थी। चेहरा सूजा हुआ
था और उसपर भी कई स्थानों पर रूई के साथ दवाई चिपकी हुई थी। उधर से उसका एक दोस्त
गुज़रा। उसकी यह हालत देख कर वह आग-बबूला हो गया। उसने कहा, 'जिसने तुम्हारा यह
हाल किया है उसका बड़ा ग़र्क हो जाये। उसका कुछ न बचे।''
वह व्यक्ति इतना सुन न सका। उसको भी ग़ुस्सा
आ गया। उसने अपना हाथ उठाकर उसे रोकना चाहा पर दर्द से उससे चीख निकल उठी। फिर भी उसे
चेतावनी देते हुये बोला, ''देख, चुप हो जा। मैं अपनी पत्नि के विरूद्ध एक भी शब्द
नहीं सुन सकता।''
मेरी बीवी बहुत अच्छी है
एक व्यक्ति अपनी बीवी की तारीफों के पुल बांधे जा रहा था। उसने कहा कि वह इतनी
अच्छी है कि मैं रात को चाहे जितना मर्जी़ देर से आऊं – रात को ग्यारह बजे, बारह
बजे या उससे भी देरी से, वह मुझे पानी गर्म कर के देती है।''
दोस्त ने कहा, ''बहुत खूब। क्या वह तुम्हारे
पांव धोती है गर्म पानी से\''
''नहीं'', उस व्यक्ति ने स्पष्ट किया। ''मैं ठण्डे पानी
से बर्तन साफ नहीं कर सकता।''
मैं भी तो उसका इकलौता पति हूं
एक कवि ने अपने एक कवि मित्र से अपना
दुखड़ा रोया। बोले, ''मैं अपनी पत्नि से बहुत परेशान हूं।''
मित्र ने पूछा, ''क्या हुआ\''
''मैं जब भी अपने बेटे को डांटता हूं तो वह सदा उसका पक्ष
लेती है।''
''तुम भी तो उसे ऐसे ही डांटते रहते होगे'', मित्र ने
समझाया।
''नहीं''। कवि ने कहा, ''वह तब भी उसका ही साथ देती है जब
उसने कोई ग़लती भी की हो''।
मित्र ने उसे समझाया। ''देखो, मां का लाड-प्यार है। आखिर
वह उसका इकलौता बेटा है न''।
कवि खीझ उठा। बोला, ''मैं भी तो उसका इकलौता ही पति हूं
न''।
तब तो एक नोट और दीजिये
एक पति ने अपने नौकर को पांच सौ का नोट
थमाया और कहा, ''बीबीजी को मत बताना कि पीछे से कोई महिला आर्इ थी''।
''तब तो पांच सौ का एक नोट और दीजिये,
मालिक'', नौकर ने सहज भाव से कहा।
''क्यों\'' मालिक ने कड़क होकर
पूछा।
''मालिक, मालकिन तो ऐसे मौके पर एक हज़ार देती हैं''।
इसे कोई भी ले जाये
एक व्यक्ति की बीवी किसी के साथ भाग गई।
उसने उस पर मुकद्दमा कर दिया। सुनावाई के दौरान दु:खी पति ने अदालत में कहा, ''जज
सॉब, मेरी बीवी को आरोपी के वकील सॉब ले जायें, मेरे वकील सॉब ले जायें, आप ले
जायें पर मैं उसके साथ नहीं जाने दूंगा''।
जज ने डांटते हुये कहा, ''क्या बक रहे हो।
चुप रहो''।
व्यक्ति ने हाथ जोड़ते हुये कहा, ''सॉब,
मैं अपने मन की बात कर रहा हूं''।
नज़रिया बदल लिया है मैंने
एक व्यक्ति
बड़ा दु:खी रहता था। उसकी पत्नि के उसके बॉस से अवैध सम्बंध हो गये थे। पर एक दिन
जब वह आफिस आया तो बड़ा तरोताज़ा, खुश। उसके सहयोगियों को हैरानी हुई। उन्होंने
पूछा कि क्या सारा मामला सुलझ गया है\
''नहीं'', उसने हंसते हुये बताया। ''मैंने
अपना नज़रिया बदल लिया है। अब मैं समझता हूं कि वह मेरे बॉस की पत्नि है जो मेरे
पास कभी-कभी आ जाती है''।
(कुच्छ सुने-सुनाये
व पढ़े)
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